बिहार के 19 शहरी निकायों में हुआ बदलाव, दावा आपत्ति की अंतिम तिथि 25 फरवरी निर्धारित

बिहार सरकार की कैबिनेट बैठक में हाल ही में कई नगर निकायों के उत्क्रमण और क्षेत्र विस्तार को मंजूरी मिली है जिसके बाद डेढ़ दर्जन से अधिक शहरी निकायों की चौहद्दी में बदलाव देखने को मिले हैं। नगर विकास एवं आवास विभाग ने राज्य के मुजफ्फरपुर, छपरा, सहरसा नगर निगम समेत उड़ाई से शहरी निकायों की चौहद्दी में बदलाव को लेकर ड्राफ्ट नोटिस जारी किया है। जारी ड्राफ्ट में अगले 1 महीने तक दावा आपत्ति लिया जाएगा। 25 जनवरी 2022 तक प्रमंडलीय आयुक्त व डीएम के जरिए दावा आपत्ति जमा की जाएगी। फिर दावा आपत्तियों का निवारण करते हुए अंतिम रूप से निकायों को अधिसूचित करने की योजना है।

प्रकाशित ड्राफ्ट के मुताबिक, शहरी क्षेत्र में कई नए पंचायत व गांव को शामिल किया गया है। उदाहरण के तौर पर मुजफ्फरपुर नगर निगम का क्षेत्र विस्तार हुआ है इसमें मड़वन, शुभंकरपुर, कांटी, दादर कोल्हुआ, पैगम्बरपुर, सदातपुर, दामोदरपुर, अंचल मुशहरी, शहवाजपुर, शेखपुरा, बड़ा जगन्नाथ, शेरपुर, सुस्ता, पूर्ण भाग रोहुआ, कन्हौली, मंझौली खेतल, भगवानपुर व पताही को सम्मिलित किया गया है। इसी प्रकार छपरा नगर निगम में करिंगा, फफूली, साढ़ा, मौना, पूर्वी तेलपा, शेरपुर, विशुनपुरा, नैनी, तेनुआ रिविलगंज-इनई, मुकरेरा, दिलिया, रहीमपुर गरखा-पिरौना, फेरूसा और महमदा पंचायत शामिल हुए हैं।

वहीं बिहार में अब जमीन के मालिक के बारे में पता लगाना बेहद आसान हो गया है। राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग ने एक पोर्टल तैयार किया है जहां कंप्यूटराइज जमाबंदी दर्ज करते ही जमीन के मालिक के बारे में पता लग जाता है। इसकी सबसे बड़ी खासियत है कि जमीन पर किस बैंक से कर्ज लिया गया है या नहीं इस बात का भी जानकारी इस पोर्टल के जरिए मिल जाता है। जिसे जमीन की खरीद और बिक्री के समय धोखाधड़ी के मामले से लोग आसानी से बच सकते हैं।

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