खगड़िया स्थित इस पुल का निर्माण हुआ लगभग पूरा, 15 मई से शुरू होगा वाहनों का आवागमन

कोसी के इलाके के लोगों के लिए अच्छी खबर है। फरकिया के किसानों को जिला मुख्यालय तक दूरी तय करने के लिए नावों से मुक्ति मिल जाएगी। 17 करोड़ 65 लाख की राशि खर्च कर नदी की उप धारा शुगर पोल घाट पर बन रहे पुल को आने वाले 15 मई से आम लोगों के लिए खोल‌ दिया जाएगा। गाड़ियों का आना-जाना भी शुरू हो जाएगा।

बता दें कि 6 नवंबर 2019 को ही शूगर कोल घाट पुल का निर्माण शुरू हुआ था। पुल की लंबाई 247.98 मीटर है इसमें 10 पिलर दिया गया है। जबकि इसपर 10 स्पेन की ढलाई होनी थी। पुल के नौ स्पेन और सभी पिलरों की ढलाई पहले ही पूर्ण हो चुका है। इसके साथ ही पुल के दक्षिणी भाग के पहुंच पथ का निर्माण भी पूरा कर लिया गया है। मिली जानकारी के मुताबिक पुल का आठवां और लास्ट स्पेन की ढलाई का काम जोरों-शोरों से चल रहा है। पुल के उत्तरी भाग में पहुंच पथ निर्माण का काम मिटी भराई भी युद्ध स्तर पर हो रहा है। प्राप्त जानकारी के मुताबिक पुल का लास्ट स्लैप ढालने हेतु शटरिंग का काम भी पूरा हो चुका है।

प्रतीकात्मक चित्र

पुल के आठवें यानी अंतिम स्लैब को आने वाले 2 मई तक भलाई का काम पूरा करने का प्लान है। आठवां और अंतिम स्लैब की ढलाई के पश्चात 15 दिनों तक लोडिंग किया जाएगा।‌ फ्लोरिंग का काम पूरा होने तक पुल के संपर्क पथ का निर्माण भी पूरा हो जाएगा।

फरकिया के लोगों के लिए आने वाले 15 मई से शुगर कोल घाट पर नाव से सफर करने से छुटकारा मिल जाएगा। बताने की पूर्व में ही सहरसा सीमा के सर्वजीता और सोनमनकी के मध्य खैरी धार, हेलना धार पर और बेलदरवा धार पुल का निर्माण काम पूर्ण हो चुका है। फरकिया वासी इस पुल से आना जाना भी कर रहे हैं।

शूगर कोल घाट पर पुल बन जाने से जिले के साथ ही सहरसा के दर्जनों गांव और हजारों लोगों को चार चक्का गाड़ी से सड़क होते हुए जिला मुख्यालय तक का सफर करने का सपना हकीकत में बदल जाएगा। बता दें कि चेरा खेड़ा और आनंदपुर मारन पंचायत की तकरीबन 50 हजार से ज्यादा आबादी दो से ज्यादा जगहों पर नाव के जरिए जिला मुख्यालय तक पहुंचती थी। सहरसा के सिमरी बख्तियारपुर ब्लॉक के दो पंचायत के लगभग 15 गांवों का मुख्य मार्केट खगड़िया ही है।

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